लोग जब बेदार होंगे देखना
कुछ नए किरदार होंगे देखना
गर उजाड़ोगे यूँ ही तुम आशियाँ
तिनके ही तलवार होंगे देखना
कब तलक बेकार फिरेंगे नौजवां
हाथ में हथियार होंगे देखना
बेचने जितने हैं जुमले बेचलो
ठप्प ये कारोबार होंगे देखना
सर उठाकर चल सकोगे किस तरह
पाँव में दस्तार होंगे देखना
जिन सरों से है तुम्हारी दुश्मनी
ताज के हकदार होंगे देखना
मनजीत भोलाकुरुक्षेत्र, हरियाणा